ज्योतिष शास्त्र के अनुसार कुछ पेड़-पौधों पर कलावा बांधने से घर में सुख-समृद्धि का आगमन होता है और सकारात्मक ऊर्जा का वास होता है। धार्मिक मान्यता है कि ऐसा करने से जातक की सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं और जीवन खुशहाल रहता है। पूजा के दौरान कलावा बांधने की परंपरा प्राचीन समय से चली आ रही है।
मान्यता है कि बरगद के पेड़ में भगवान विष्णु, देवों के देव महादेव और ब्रह्मा जी का वास होता है। इसलिए इस पेड़ की पूजा-अर्चना करने का विधान है। वट सावित्री व्रत के दिन सुहागिन महिलाएं पेड़ की पूजा-अर्चना करती हैं और कलावा बांधती हैं। ऐसा माना जाता है कि पेड़ पर कलावा बांधने से पति को लंबी आयु का वरदान प्राप्त होता है।
ज्येष्ठ अमावस्या तिथि को वट सावित्री का व्रत रखा जाता है। इस दिन बरगद पेड़ की विधिपूर्वक पूजा की जाती है। वट सावित्री व्रत के दिन बरगद पेड़ की विधिपूर्वत पूजा करने से अखंड सौभाग्य का आशीर्वाद मिलता है। सुहागिन महिलाएं वट सावित्री के दिन बरगद पेड़ की पूजा के साथ उसकी सात बार परिक्रमा करती हैं।
ज्योतिषाचार्य
निधि भारद्वाज ( एम. ए. ज्योतिष)